Sunday, January 10, 2010

अब तुम इतने दूर हो

अ. ब. के लिये


अब तुम इतने दूर हो
मेरी मन की आंखों से दिखते नहीं


मेरा मन मुड़ चुका है
तुम्हें अंदर आने नहीं देगा


बचा है तो सिर्फ़,
कुछ खोने का एहसास

Johannes Beilharz

Translated by Richa Dubey

No comments: